प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सोमवार को पर्व प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी की ओर से लगाए गए ‘आपातकाल’ का जिक्र किया और कहा कि जब देश के लोकतंत्र को समय के दौरान कुचल दिया गया था, तो ‘सभी प्रमुख दल एक साथ आए और संविधान को बचाने के लिए लड़े’।
दिवंगत हरमोहन सिंह यादव की 10वीं पुण्यतिथि पर आयोजित एक कार्यक्रम को संबोधित करते हुए प्रधानमंत्री मोदी ने भी विपक्ष पर तंज कसा और कहा कि किसी पार्टी या व्यक्ति का विरोध देश के खिलाफ नहीं होना चाहिए।
Addressing a programme marking the 10th Punyatithi of late Shri Harmohan Singh Yadav Ji.
https://t.co/2DqidtWMXE— Narendra Modi (@narendramodi) July 25, 2022
पीएम मोदी ने वर्चुअल इवेंट के दौरान कहा कि साल 1971 में भारत-पाकिस्तान युद्ध के दौरान सभी राजनीतिक दल सरकार के साथ खड़े थे, लेकिन जब आपातकाल लगाया गया तो सभी प्रमुख दल संविधान को बचाने के लिए एक साथ आए। संसद में विभिन्न मुद्दों का विरोध करने वाले विपक्ष के अप्रत्यक्ष संदर्भ में पीएम मोदी ने कहा कि ये हर राजनीतिक दल की जिम्मेदारी है कि किसी पार्टी या व्यक्ति का विरोध देश के खिलाफ न हो। पीएम मोदी ने कहा कि विचारधाराओं की अपनी जगह होती है, लेकिन देश पहले, समाज पहले, राष्ट्र पहले।
पीएम मोदी ने आगे कहा कि एक प्रवृत्ति है कि विचारधाराओं और राजनीतिक हितों को राष्ट्र और समाज के आगे रखा जा रहा है। पीएम ने कहा कि हमारे लिए समाज हमारी संस्कृति और प्रकृति है। प्रधानमंत्री का संदर्भ ऐसे समय में आया है, जब मूल्य वृद्धि, जीएसटी और अन्य मुद्दों पर चर्चा की मांग को लेकर विपक्ष के विरोध के कारण संसद में बार-बार व्यवधान और स्थगन देखा गया है।