English മലയാളം

Blog

इजरायल के प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतनयाहू ने नई दिल्ली स्थ‍ित इजरायली दूतावास के बाहर 29 जनवरी को हुई विस्फोट की घटना को लेकर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से बात की और अपने देश के प्रतिनिध‍ियों की सुरक्षा के लिए किए गए उपायों के लिए उन्हें धन्यवाद भी कहा.

बता दें कि 29 जनवरी को दिल्ली के लुटियंस इलाके में औरंगजेब रोड पर स्थित इजराइली दूतावास के बाहर मामूली आईईडी विस्फोट हुआ था. हालांकि धमाके में कोई हताहत नहीं हुआ. इस अति-सुरक्षित इलाके में हुए धमाके में कुछ कारें क्षतिग्रस्त हुई थी और पुलिस ने कहा था कि प्रारंभिक जांच में प्रतीत हुआ है कि किसी ने सनसनी पैदा करने के लिये यह शरारत की.

Also read:  कोरोनावायरस : 3 महीने में सबसे कम नए मामले आए सामने, पिछले 24 घंटे में दर्ज हुए 46,790 केस

इजरायली दूतावास (Israel Embassy) के पास शुक्रवार की शाम हल्का आईईडी ब्लास्ट हुआ था. इससे सुरक्षा एजेंसियों की नींद उड़ गई है. मौका-ए-वारदात पर दिल्ली पुलिस (Delhi Police) को एक लिफाफा मिला था जिसके अंदर इजरायल के राजदूत को संबोधित करते हुए एक चिट्ठी लिखी गई थी. चिट्ठी में कहा गया है कि यह तो एक ट्रेलर था. चिट्ठी में ईरान के उस जनरल कासिम सुलेमानी का भी जिक्र है, जिनकी 3 जनवरी 2020 को इराक में बगदाद एयरपोर्ट के पास ड्रोन हमले में हत्या कर दी गई थी. इस लिहाज से जांच एजेंसियां इस धमाके में ईरान कनेक्शन की भी तलाश कर रही है.

Also read:  दिल्ली में ध्वनि प्रदूषण को प्रभावी ढंग से नियंत्रित करने के लिए, स्थानीय निकायों, SHO को अधिकार देने का प्रस्ताव

इजराइली दूतावास (Israeli embassy Blast) के पास शुक्रवार शाम को हुए धमाके के मामले में सुरक्षा एजेंसियों को कुछ ठोस सुराग नहीं हाथ लगा है. दरअसल, घटना के वक्त विस्फोट स्थल के पास लगे ज्यादातर सीसीटीवी काम नहीं कर रह थे. आधिकारिक पुलिस सूत्रों ने कहा कि दिल्ली पुलिस की स्पेशल सेल के जांच दल ने इजराइली दूतावास के निकट धमाके की जगह का और साक्ष्य जुटाने के उद्देश्य से दौरा किया.

Also read:  दिल्ली एयरपोर्ट पर स्पाइसजेट के स्टाफ और यात्रियों में तीखी बहस

भारत में इजराइल के राजदूत रॉन मलका ने कहा कि उनके पास यह मानने के लिए पर्याप्त कारण हैं कि यह एक आतंकवादी हमला था लेकिन वे इस हमले को लेकर हैरान नहीं हैं क्योंकि खुफिया जानकारी के बाद पिछले कुछ सप्ताह से सतर्कता काफी बढ़ाई हुई थी. उन्होंने ‘पीटीआई-भाषा’ को दिए एक साक्षात्कार में कहा, ‘‘सभी पहलुओं को ध्यान में रख कर जांच की जा रही है, जिसमें हमारे राजनयिकों पर यहां 2012 में हुए हमले से तथा दुनियाभर में हो रहे घटनाक्रम से कोई संबंध होने की संभावना भी शामिल हैं.”