English മലയാളം

Blog

Screenshot 2022-01-28 084204

चीन ने यह भी कहा कि वह और भारत नहीं चाहता है कि कोई तीसरा पक्ष सीमा विवाद को लेकर मध्यस्थता न करे। चीन के इस बयान पर भारत ने अभी कोई प्रतिक्रिया नहीं दी है।

 

भारत के साथ जारी सीमा विवाद को लेकर चीन के रक्षा मंत्रालय का कहना है कि अमेरिका को इसमें दखल नहीं देना चाहिए। दोनों पड़ोसी देश द्विपक्षीय ढंग से मसले को सुलझा लेंगे। दरअसल चीन द्वारा लद्दाख क्षेत्र में मनमाने ढंग से निर्माण कार्यों पर भारत ने कड़ी आपत्ति जताई है। अन्य पड़ोसी देशों के साथ भी चीन के विस्तारवादी कदमों को लेकर अमेरिका व अन्य पश्चिमी देश उसका कड़ा विरोध कर रहे हैं। इसे लेकर चीन पर दबाव बढ़ रहा है।

चीन ने यह भी कहा कि वह और भारत नहीं चाहता है कि कोई तीसरा पक्ष सीमा विवाद को लेकर मध्यस्थता न करे। हालांकि चीन के इस बयान पर भारत ने अभी कोई प्रतिक्रिया नहीं दी है। चीन के रक्षा मंत्रालय का कहना है कि भारत के साथ सीमा समस्या द्विपक्षीय मसला है। उसने इस बयान को लेकर अमेरिका की आलोचना की कि चीन भारत समेत अपने पड़ोसियों को मजबूर कर रहा है।

Also read:  गैर-क़तरी स्वामित्व और अचल संपत्ति के उपयोग के नियमन पर कैबिनेट समीक्षा रिपोर्ट

चीन के रक्षा मंत्रालय के प्रवक्ता वू कियान ने कहा, ‘कुछ अमेरिकी राजनीतिज्ञ ‘दमन’ शब्द के इस्तेमाल के इतने आदी हो चुके हैं कि वे भूल जाते हैं कि अमेरिका ही ‘दबाव की कूटनीति’ का आविष्कारक और बड़ा खिलाड़ी है।’

कियान ने कहा कि चीन न तो किसी पर दबाव डालता है और न ही किसी के दबाव में आता है। वह अमेरिका की दबाव की कूटनीति का मजबूती से विरोध करता है। चीनी रक्षा मंत्रालय के प्रवक्ता ने गुरुवार को अपनी मासिक प्रेस कॉन्फ्रेंस में यह बात कही। उन्होंने कहा कि हम भारत के साथ निकट संपर्क में रह कर सीमा विवाद सुलझा लेंगे।

Also read:  दिल्ली में मेयर पद के लिए वोटिंग आज, भाजपा का अपने 105 पार्षदों को निर्देश, क्रॉस वोटिंग के आसार

अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडन ने बीते दिनों जापान के पीएम किशिंदा के साथ 80 मिनट की वर्चुअल मीटिंग में चीन को चेतावनी दी थी। चीन सागर में चीन के बढ़ते दखल व भारत-प्रशांत क्षेत्र में चीन की बढ़ते दखल व यूक्रेन संकट के बीच ताइवान में आक्रमण न करने को लेकर उसे धमकाते हुए अमेरिका ने कहा था कि वह अपनी हरकतों से बाज आए। अमेरिका ने यह भी कहा था कि भारतीय सीमा पर चीन की हरकतों पर भी उसकी नजर है।

Also read:  नवनियुक्त मंत्रियों ने किंग सलमान के सामने शपथ ली

चीन के रक्षा मंत्रालय के प्रवक्ता वू ने पूर्वी लद्दाख में वास्तविक नियंत्रण रेखा (एलएसी) पर चल रहे विवाद को हल करने के लिए भारत और चीन के बीच 12 जनवरी को हुई 14 वें दौर की सैन्य वार्ता से पहले व्हाइट हाउस के प्रेस सचिव जेन साकी द्वारा की गई टिप्पणियों का जिक्र करते हुए अमेरिका को नसीहत दी। साकी ने कहा था कि हम पूर्वी लद्दाख और दुनिया भर में बीजिंग के व्यवहार पर नजर रखे हुए हैं। हमें विश्वास है कि यह अस्थिर करने वाला हो सकता है। हम चीन को अपने पड़ोसियों को डराने-धमकाने के प्रयास से चिंतित हैं।