English മലയാളം

Blog

n43970155616678855584019301c27b8f3937989db2732d914d6ba4654c00fce8f5b9931f44da1bf2a47fce

केंद्रीकृत डाटा प्रबंधन (centralised data management) के लिए जन्म और मृत्यु पंजीकरण अधिनियम में संशोधन के लिए केंद्र सरकार एक विधेयक ला सकती है वहीं गृह मंत्रालय ने अपनी नवीनतम वार्षिक रिपोर्ट में देश भर में राष्ट्रीय जनसंख्या रजिस्टर (National Population Register) डेटाबेस को अपडेट करने की आवश्यकता पर जोर दिया है।

2021-22 के लिए मंत्रालय की वार्षिक रिपोर्ट में कहा गया है कि कोविड -19 महामारी के कारण एनपीआर अपडेशन और अन्य संबंधित क्षेत्र की गतिविधियों को स्थगित कर दिया गया था। लेकिन अब एनपीआर डेटाबेस को अपडेट किया जाएगा। इसमें सेल्फ अपडेटिंग प्रक्रिया भी शामिल होगी, जिसमें निवासी एनपीआर डेटा को पेपर फॉर्मेट और मोबाइल मोड में कुछ प्रोटोकॉल का पालन करने के बाद अपडेट कर सकेंगे।

Also read:  किसान सम्मान निधि में होगा बदलाव, अब तक हुए सात बदलाव, जाने क्या होगा बदलाव

अभ्यास के दौरान प्रत्येक परिवार और व्यक्ति के जनसांख्यिकीय और अन्य विवरण अपडेट किए जाने हैं। अपडेट के दौरान कोई दस्तावेज या बायोमेट्रिक्स एकत्र नहीं किया जाएगा क्योंकि केंद्र ने पहले ही इस उद्देश्य के लिए 3,941 करोड़ रुपये राशि की मंजूरी दे दी है।

रिपोर्ट में यह भी कहा गया है कि 1 अप्रैल 2021 से 31 दिसंबर 2021 तक MHA सहित सभी अधिकारियों द्वारा कुल 1,414 नागरिकता प्रमाणपत्र दिए गए हैं। रिपोर्ट में कहा गया है कि इसमें से 1,120 को धारा 5 के तहत पंजीकरण और 294 को नागरिकता अधिनियम-1955 की धारा 6 के तहत मंजूरी दी गई है।”

Also read:  2000 में लाल किले पर हमले के दोषी मोहम्मद आरिफ की फांसी की सजा को सुप्रीम कोर्ट ने बरकरार रखा है

वार्षिक रिपोर्ट में यह भी कहा गया है कि केंद्र सरकार ने पाकिस्तान, बांग्लादेश और अफगानिस्तान के हिंदू, सिख, जैन, बौद्ध, ईसाई या पारसी समुदायों के सदस्यों के संबंध में पंजीकरण में भारतीय नागरिकता प्रदान करने की अपनी शक्तियों को 29 जिलों के कलेक्टरों और नौ राज्यों के गृह सचिव को सौंप दिया है। रिपोर्ट में कहा गया है कि प्रतिनिधिमंडल (शक्तियों का) उपरोक्त श्रेणी के प्रवासियों को भारतीय नागरिकता देने की प्रक्रिया को तेज करेगा क्योंकि स्थानीय स्तर पर निर्णय लिया जाएगा।

Also read:  अफवाहों को भाजपा द्वारा महा विकास अघाड़ी (एमवीए) में दरार पैदा करने के लिए फैलाया जा रहा-संजय राउत

गृह मंत्रालय ने पिछले एक साल में तीन पड़ोसी देशों के अल्पसंख्यक समुदायों के 2,439 सदस्यों को लंबी अवधि का वीजा दिया है। ये वीजा उन्हें भारतीय नागरिकता देने का एक संकेत भी है। इसमें पाकिस्तान से 2,193, अफगानिस्तान से 237 और बांग्लादेश से नौ लोग शामिल हैं।