English മലയാളം

Blog

Screenshot 2022-03-05 104051

चीन ने अपने रक्षा बजट में 7.1 प्रतिशत की वृद्धि कर 230 अरब डॉलर करने का प्रस्ताव किया है। यह राशि पिछले साल के 209 अरब डॉलर के मुकाबले 21 अरब डॉलर अधिक है। चीन का रक्षा बजट भारत के रक्षा बजट (लगभग 70 अरब डॉलर) के मुकाबले तीन गुना हो गया है।

 

भारत के साथ पूर्वी लद्दाख में गतिरोध और अमेरिका के साथ बढ़ते राजनीतिक और सैन्य तनाव के बीच चीन ने शनिवार को अपने रक्षा बजट में 7.1 प्रतिशत की वृद्धि कर 230 अरब डॉलर करने का प्रस्ताव किया है। यह राशि पिछले साल के 209 अरब डॉलर के मुकाबले 21 अरब डॉलर अधिक है। चीन रक्षा बजट पर खर्च करने के मामले में दुनिया का दूसरा सबसे बड़ा देश है।

Also read:  Budget 2022: कोरोना महामारी से प्रभावित छोटे कारोबारियों को बजट में राहत मिलने की उम्मीदें

सरकारी अखबार ‘चाइना डेली’ ने प्रधानमंत्री ली केकियांग द्वारा नेशनल पीपुल्स कांग्रेस (एनपीसी) में शनिवार को पेश मसौदा बजट के हवाले से बताया कि चीन की सरकार ने वित्त वर्ष 2022 के लिए 1.45 खरब (ट्रिलियन) युआन के रक्षा बजट का प्रस्ताव किया है जो पिछले साल के मुकाबले 7.1 प्रतिशत अधिक है।

इस वृद्धि के साथ चीन का रक्षा बजट भारत के रक्षा बजट (लगभग 70 अरब डॉलर) के मुकाबले तीन गुना हो गया है। कम्युनिस्ट पार्टी द्वारा संचालित ग्लोबल टाइम्स ने कहा कि इस साल बढ़ोतरी चीन के सामने सुरक्षा खतरों को दर्शाती है।

Also read:  रेल ट्रैक पर तोड़फोड़ करने वालों को रेल मंत्रालय नहीं देगी नौकरी

पिछले साल चीन का रक्षा बजट 200 अरब डॉलर के पार गया था। चीन ने वित्त वर्ष 2021 में अपने रक्षा बजट में 6.8 प्रतिशत की वृद्धि की थी जिससे उसका कुल रक्षा बजट 209 अरब डॉलर हो गया था। चीनी प्रधानमंत्री ने संसद में पेश कार्य रिपोर्ट में ”पीपुल्स लिबरेशन आर्मी (पीएलए) की युद्ध तैयारी को वृहद तरीके से मजबूत’ करने पर जोर दिया।”

Also read:  उत्तर प्रदेश की विधानसभा में शुक्रवार को इतिहास रचा, विधायक सलिल विश्नोई की हुई पिटाई को लेकर सदन में विशेषाधिकार हनन के मामले पर आए फैसले

आर्थिक स्थिरता प्राथमिकता

वहीं, अर्थव्यवस्था के मोर्चे पर प्रधानमंत्री ली ने पिछले वर्ष के 6 फीसदी लक्ष्य से नीचे लगभग 5.5 फीसदी के अनुमानित सकल घरेलू उत्पाद (जीडीपी) करे लक्ष्य की घोषणा की।

बता दें कि, पिछले साल चीन की अर्थव्यवस्था 8.1 फीसदी की रफ्तार से बढ़ी लेकिन पिछली तिमाही में धीमी होकर 4 फीसदी हो गई। उन्होंने कहा कि 2022 में 11 लाख नई नौकरियों के लक्ष्य के साथ आर्थिक स्थिरता प्राथमिकता है।