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पूरी दुनिया पर मंडराते ओमिक्रॉन के खतरे के बीच IHU नाम के एक नए कोरोना वैरिएंट ने दस्तक दी है। यह वैरिएंट नवंबर में फ्रांस में पाया गया था जहां इसके 12 संक्रमित मरीजों की पुष्टि हुई। WHO (विश्व स्वास्थ्य संगठन) ने फ्रांस में मिले इस नए वैरिएंट को बड़ा खतरा नहीं माना है।

हालांकि, कोविड मामलों की जिम्मेदारी संभाल रहे WHO के अधिकारी आब्दी महमूद ने मंगलवार को जेनेवा में एक प्रेस ब्रीफिंग में कहा, ‘यह नया वैरिएंट हमारे रडार पर है। फ्रांस में इस वैरिएंट से 12 लोग ठीक उसी वक्त संक्रमित पाए गए थे जब पिछले साल दक्षिण अफ्रीका में ओमिक्रॉन मिला था।

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‘दि मेडिटेरेनी इंफेक्शन यूनिवर्सिटी हॉस्पिटल इंस्टिट्यूट’ (IHU) के शोधकर्ताओं ने वैज्ञानिक डिडायर राउल्ट के नेतृत्व में नए IHU या B.1.640.2 वैरिएंट की खोज की है। महामारी के शुरुआती दौर में राउल्ट ने हाइड्रोक्सीक्लोरोक्वीन के साथ इलाज की सिफारिश कर विवाद खड़ा कर दिया था।

रिपोर्ट में बताया गया है कि नए वैरिएंट से संक्रमित पहला मरीज वैक्सीनेटेड था। शख्स हाल ही में अफ्रीकी देश कैमरून से फ्रांस लौटा था। दिसंबर के आखिर में medRxiv सर्वर पर प्रकाशित एक रिसर्च पेपर में IHU के शोधकर्ताओं ने इसके बेहद असामान्य म्यूटेशन की ओर ध्यान आकर्षित किया। इस पीयर-रिव्यू आर्टिकल में उन्होंने लिखा, ‘IHU वैरिएंट के सिर्फ 12 मामलों के आधार पर इसके वायरोलॉजिकल, एपिडेमायोलॉजिकल और क्लीनिकल फीचर के बारे में कुछ भी अंदाजा लगाना जल्दबाजी होगी।

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पेपर में साझा की गई जानकारी के मुताबिक, संक्रमण की रिपोर्ट आने से एक दिन पहले मरीजों ने सांस से जुड़े हल्के लक्षण महसूस होने की शिकायत की थी। इस बात के भी ठोस सबूत नहीं हैं कि नया वैरिएंट फ्रांस की सीमा के बाहर फैल चुका है। हालांकि, कुछ गैर आधिकारिक दावों के मुताबिक, यह वैरिएंट पहले ही यूके की सीमा में दाखिल हो चुका है।

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WHO कई तरह के वैरिएंट को मॉनिटर करता है और जब एक्सपर्ट को ये पता चल जाता है कि संबंधित वैरिएंट खतरे की वजह बन सकता है तो उसे ‘वैरिएंट ऑफ कन्सर्न’ के रूप में सूचीबद्ध कर दिया जाता है। डेल्टा या ओमिक्रॉन जैसे कोरोना स्ट्रेन ‘वैरिएंट ऑफ कन्सर्न’ के रूप में लिस्टेड हैं। जबकि IHU वैरिएंट अभी केवल जांच के दायरे में है।